Monday 29 July 2024

आजमगढ़ रानी की सराय सड़क किनारे बेहोश मिला युवक, उपचार के दौरान मौत परिजनों ने लगाया हत्या का आरोप इंश्योरेंस कंपनी में मैनेजर के पद पर था कार्यरत


 आजमगढ़ रानी की सराय सड़क किनारे बेहोश मिला युवक, उपचार के दौरान मौत


परिजनों ने लगाया हत्या का आरोप 


इंश्योरेंस कंपनी में मैनेजर के पद पर था कार्यरत




उत्तर प्रदेश आजमगढ़ रानी की सराय थाना क्षेत्र के ऊंची गोदाम भीटी गांव के पास सड़क किनारे रविवार की शाम एक युवक बेहोशी हालत में मिला। लोगों की सूचना पर पहुंची पुलिस ने घायलावस्था में युवक को जिला अस्पताल में भर्ती कराया। युवक की हालत गंभीर देख डाक्टरों ने हायर सेंटर रेफर कर दिया। पुलिस की सूचना पर पहुंचे परिजन उसे शहर के एक प्राइवेट अस्पताल ले गए, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। परिवार ने युवक की हत्या का आरोप लगाते हुए पुलिस को तहरीर दी है। पुलिस रिपोर्ट दर्ज कर मामले की छानबीन में जुटी है। जहानागंज थाना के बीरमपुर गांव निवासी राजेश पासवान (42) गाजीपुर में एक इंश्योरेंस कंपनी में मैनेजर के पद पर कार्यरत थे। परिजनों के अनुसार, कल सुबह छह बजे के करीब राजेश की पत्नी के मामा के लड़के के साथ घर से निकला था। इसके बाद राजेश ने दोपहर में पत्नी से मोबाइल पर बात की। उसके बाद से उसकी किसी से कोई बात नहीं हुई। रविवार की शाम को सात बजे के करीब पुलिस द्वारा घटना की सूचना परिजनों को दी गई। 


पुलिस ने बताया कि राजेश बेहोशी हालत में भीटी गांव के पास सड़क पर मिला था। उसे एंबुलेंस के माध्यम से सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सदर अस्पताल में डाक्टरों ने राजेश की हालत गंभीर देख हायर सेंटर के लिए रेफर कर दिया। परिवार के लोग उसे उपचार के लिए शहर के एक प्राइवेट अस्पताल ले गए, जहां उपचार के दौरान राजेश की मौत हो गई। राजेश की मौत से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। मृतक को एक पुत्र है। पत्नी रेखा ने बताया कि पति राजेश कल सुबह छः बजे के करीब उसके मामा के लड़के साथ निकले थे। उसके बाद पुलिस के द्वारा उनके मौत की सूचना मिली। इस संबंध में थानाध्यक्ष रानी की सराय सुनील कुमार सिंह ने बताया कि तहरीर मिलने के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे कार्रवाई की जाएगी।

गोरखपुर/बलिया ट्रक वसूली मामले में फरार थानेदार पन्नेलाल ने किया सरेंडर एसओजी आजमगढ़ लेकर आई


 गोरखपुर/बलिया ट्रक वसूली मामले में फरार थानेदार पन्नेलाल ने किया सरेंडर



एसओजी आजमगढ़ लेकर आई




उत्तर प्रदेश गोरखपुर, बलिया में बिहार बार्डर पर नरही थाना क्षेत्र में ट्रकों से वसूली मामले में फरार चल रहे नरही थानाध्यक्ष पन्नेलाल कन्नौजिया को एसओजी ने गिरफ्तार कर लिया है। गोरखपुर में गोला थाना क्षेत्र के गांव भरसी निवासी को पकड़ने के लिए रविवार को आजमगढ़ एसओजी पुलिस टीमों के साथ पहुंची थी यहां पर पन्नेलाल ने पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया. इसके बाद एसओजी उसे आजमगढ़ ले गई।


बता दें कि 24 जुलाई 2024 की रात ADG और DIG की रेड के बाद कुल 18 लोग गिरफ्तार किए गए थे. ट्रकों से पुलिसकर्मियों द्वारा अवैध वसूली की शिकायत पर सीएम योगी के निर्देश पर यह कार्रवाई की गई शासन ने एसपी बलिया देव रंजन वर्मा को हटा दिया था. साथ ही एडिशनल एसपी का भी तबादला कर दिया गया. इसी के साथ सीओ को सस्पेंड किया गया है. सीएम योगी ने सीओ, SHO नरही और चौकी प्रभारी काेरंटाडीह की सम्पत्ति के जांच के भी निर्देश दिए हैं। इस मामले में SHO नरही पन्नेलाला मुकदमा दर्ज होने के बाद फरार हो गया था तब से उसकी तलाश की जा रही थी।


रविवार को एसओजी को सूचना मिली कि फरार थानेदार गोरखपुर में अपने गांव भरसी में मौजूद है. इसके बाद SOG ने गोला और नरही थाना पुलिस के साथ दबिश दी। बताते हैं कि जब टीमें पन्नेलाल के गांव भरसी पहुंची तो वह घर में मौजूद था हालांकि वह पकड़ में नहीं आया. इससे बाद जब भागने या निकल पाने में सफल नहीं हो पाया तो सरेंडर कर दिया गोला थानेदार मधुपनाथ मिश्रा का कहना है कि एसओजी टीम को पन्नेलाल के उसके गांव में होने की लोकेशन मिली थी. टीम ने गोला थाने से सहयोग मांगा था. गोला थाने में किसी भी प्रकार का कोई मामला इससे जुड़ा दर्ज नहीं हुआ है।


पन्नेलाल 2012 में उत्तर प्रदेश पुलिस में दरोगा बना था. वह अगस्त 2022 से बलिया के नरही थाने पर तैनात था और बीते गुरुवार को निलंबन और मुकदमा दर्ज होने तक वह नरही का थानेदार रहा. उसकी गिरफ्तारी के लिए तीन जिलों की पुलिस को लगाया गया था. इस प्रकरण की जांच आजमगढ़ के एसपी को सौंपी गई है. ऐसे में एसओजी टीम आजमगढ़ को बड़ी सफलता पन्नेलाल की गिरफ्तारी के रूप में मिली है।


आरोप है कि इंस्पेक्टर पन्नेलाल ट्रकों से अवैध वसूली का बड़ा रैकेट चला रहा था. वसूली से बचने के लिए कुछ ट्रांसपोर्टर ने सीधे पन्नेलाल से संपर्क कर रेट तय किए थे. ऐसे ट्रांसपोटरों को भरौली तिराहा और कोरांटाडीह पुलिस चौकी के सामने नहीं रोका जाता था।


वसूली मामले में थानाध्यक्ष नरही पन्नेलाल और चौकी प्रभारी कोरंटाडीह सहित 3 सब इंस्पेक्टर, 3 हेड कांस्टेबल, 10 कांस्टेबल और एक चालक को निलंबितत किया जा चुका है. निलंबित पुलिसकर्मियों के आवास को सील करते हुए सभी के विरुद्ध मुकदमा भी दर्ज किया गया है।


डीजीपी प्रशांत कुमार को शिकायत मिली थी कि बिहार बॉर्डर पर बलिया पुलिस वसूली गैंग चला रही है. जिसके बाद एडीजी वाराणसी को रेड करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. रेकी करने पर एडीजी वाराणसी और डीआईजी आजमगढ़ को पता चला कि यूपी बिहार सीमा पर बक्सर, बिहार से बलिया में आने वाले ट्रकों से थाना नरही के भरौली तिराहा पर पुलिस कर्मियों द्वारा कुछ दलालों के माध्यम से अवैध वसूली करायी जा रही है. इसके बाद एडीजी वाराणसी पीयूष मोर्डिया और डीआईजी आजमगढ़ वैभव कृष्ण बीते बुधवार रात करीब डेढ़ बजे पांच टीम के साथ भरौली तिराहे पर पहुंचे, जहां ट्रकों से पुलिसकर्मियों द्वारा की जा रही वसूली की सूचना सही पाई गई. मौके से एक आरक्षी हरदयाल सिंह गिरफ्तार हुआ और एक मुख्य आरक्षी विष्णु यादव, दो आरक्षी दीपक मिश्रा और बलराम सिंह कुल तीन पुलिसकर्मी भाग गए. पुलिस कर्मियों द्वारा प्राइवेट व्यक्तियों को दलाल के रूप में प्रयुक्त कर वसूली की जा रही थी. 16 दलाल भी पकड़े गए।